लेखनी और मूल्यों से समझौता नहीं होना चाहिए - शिव प्रताप शुक्ल
पूर्वांचल पत्रकार एसोसियेशन का राष्ट्रीय अधिवेशन एवं शपथ ग्रहण समारोह
तकनीक और आभासी युग में झूठ की भरमार, सत्य तलाशना कठिन: संजय तिवारी
सरकारें ग्रामीण पत्रकारों के लिए ठोस कदम उठाएं : राजेश त्रिपाठी
कलमकार ही समाज का सत्य दिखा सकता है: डॉक्टर धर्मेंद्र सिंह
विशेष संवाददाता
गोरखपुर। स्वस्थ और सुव्यवस्थित समाज के निर्माण में पत्रकारों की भूमिका बहुत महत्वपूर्ण है। ग्रामीण क्षेत्रों में यह कार्य करने वाले पत्रकारों के सामने चुनौतियां भी बहुत हैं लेकिन कोशिश यही होनी चाहिए कि किसी भी दशा में मूल्यों से समझौता न हो।
हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल शिवप्रताप शुक्ल ने सोमवार को पूर्वांचल पत्रकार एसोसियेशन के राष्ट्रीय अधिवेशन को संबोधित करते हुए उक्त उद्गार व्यक्त किए। इस अवसर पर महामहिम ने नए पदाधिकारियों को शपथ भी दिलाई। सहजंवा में आयोजित इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि हिमांचल प्रदेश के राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल थे।
श्री शुक्ल ने कहा कि पत्रकारों को अपनी लेखनी से समझौता नहीं करना चाहिए। सतही पत्रकारिता से ऊपर उठ कर कार्य करना है। हार से उपजी स्थिति के बारे में एक व्यक्ति दुष्प्रचार करता है तो उसके पीछे भागने से अच्छा है कि सच्चाई की खोज करें। पद पर रहते मूल्यों से समझौता नहीं किया जाना चाहिए। पत्रकार अपनी लेखनी किसी के भी संदर्भ में लिखने के लिए स्वतंत्रत है और समाज तथा देश हित में हर समय कलम चलनी चाहिए।
भारत संस्कृति न्यास के अध्यक्ष तथा संस्कृति पर्व के संपादक वरिष्ठ पत्रकार संजय तिवारी ने कहा कि आज़ादी से लेकर अब तक पत्रकारों ने समाज को रास्ता दिखाया है। छोटी छोटी सूचना भी महत्वपूर्ण होती है और यही एक बड़ी खबर भी बनती है। तकनीक और सूचना क्रांति के साथ ही आभासी दुनिया में पल पल फैलाए जा रहे एजेंडे और झूठ में से सत्य की तलाश बहुत कठिन है। इस समय पत्रकारों के सामने सबसे बड़ी चुनौती सत्य के प्रसारण की है क्योंकि अब बड़े पदों पर बैठे लोग भी गैर जिम्मेदारी के साथ खुल कर झूठ परोस रहे हैं। भारत के संविधान में कोई परिवर्तन करने की क्षमता किसी में नहीं लेकिन इसी झूठ से बीते चुनाव में बहुत कुछ बदल गया। ऐसे में यह बहुत जरूरी हो जाता है कि पत्रकार के पास पहुंचने वाली हर सूचना की सत्यता जानने की क्षमता जरूर विकसित की जाय।
भाजपा के प्रदेश उपाध्यक्ष एमएलसी डा.धर्मेंद्र सिंह ने कहां पत्रकार समाज का दर्पण होता है।समाज में अच्छाई बुराई दोनों बातों को लिखते है।जिसपर सरकार व शासन प्रशासन उसको सुधार करता है।यही कारण है पत्रकार कलम के सिपाही सिपाही कहें जाते है। देवरिया विधायक शलभ मणि त्रिपाठी ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्र की पत्रकारिता रीढ़ मानी जाती है और गांवों और समाज के लोगों की आवाज ग्रामीण पत्रकार ही बनते हैं। पीपीए आने वाले समय में राष्ट्रीय स्तर पर अपनी उपस्थिति दर्ज कराएगा। चिल्लूपार के विधायक राजेश त्रिपाठी ने कहा कि पत्रकार अपनी कलम से दूसरों की पीड़ा को समाज के सामने रखते है। केंद्र और प्रदेश सरकार को भी पत्रकारों के हित के लिए ठोस कदम उठाने चाहिए। विधायक प्रदीप शुक्ला ने कहा कि वर्तमान समय में मीडिया की उपयोगिता बढ़ गई क्योंकि सोशल मीडिया पर चलने वाली अफवाहों को लोग प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के जरिए हकीकत जानने की कोशिश करते है।
संगठन पर संयोजक जेपी गुप्ता ने अपने विचार रखे। आभार ज्ञापन सत्य प्रकाश त्रिपाठी ने किया। कार्यक्रम में एसोसिएशन के राष्ट्रीय, प्रदेश, मंडल, जिला और सहजनवां तहसील इकाई के पदाधिकारियों ने पद की शपथ भी लिया। इस दौरान करीब दो दर्जन पत्रकारों को स्मृति पत्रकारिता सम्मान से सम्मानित किया गया। अध्यक्षता डा. मंगल प्रसाद शुक्ला और संचालन दिनेश शुक्ला ने किया। इस दौरान भाजपा जिलाध्यक्ष युधिष्ठिर सिंह, पूर्व विधायक जीएम सिंह,प्रमुख पाली ई.शशि प्रताप सिंह,दिलीप कुमार यादव, रत्नेश कुमार पांडेय,चेयरमैन महेश दुबे, नरेंद्र सिंह, चैंबर आफ इंड्रस्ट्रीज के अध्यक्ष आरएन सिंह, पूर्व अध्यक्ष एसके अग्रवाल, मेजर साकेत,आत्मा नंद सिंह, व्यापार मंडल अध्यक्ष पुरुषोत्तम अग्रवाल, कुशीनगर से गिरीश चन्द्र पाण्डेय, सपा जिला महासचिव रामनाथ यादव, मनोज जायसवाल, गिरीश यादव,विनोद पांडेय आदि मौजूद रहे।
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